shadow
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पुस्तक-समीक्षा
अतृप्त आत्मा की कहानी
किवतंदियों में जैसा सुना गया है, भूत, साया और रूह (अगर हैं तो) इन्हें अंधेरा पसन्द है। आधी रात। 12 बजे के बाद वाली रात। जयंती रंगनाथन का उपन्यास ‘शैडो’ भी आधी रात के बाद से ही शुरू होता…
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किवतंदियों में जैसा सुना गया है, भूत, साया और रूह (अगर हैं तो) इन्हें अंधेरा पसन्द है। आधी रात। 12 बजे के बाद वाली रात। जयंती रंगनाथन का उपन्यास ‘शैडो’ भी आधी रात के बाद से ही शुरू होता…
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