पूंजीवादी लोकतंत्र
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सामाजिक न्याय के अस्पताल में शिक्षा की शव-परीक्षा
अनिल कुमार राय ‘सामाजिक न्याय’, ‘सबका साथ, सबका विकास’ आदि आजकल बास्केट बॉल गेंद की तरह हर राजनीतिज्ञ के हाथ में उछलता हुआ जुमला है और हर दल इस गेंद को अपने पाले में करने की कोशिश में…
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